धरा से सीखो सहनशीलता
सीना चीरने पे भी लहलाती फसलें दे
आसमां से सीखो विशाल ह्र्द्यता
अनंत, अथाह दूर दूर तक एक समान
पर्वतों से सीखो अडिग सुदृढ़ता
हर तूफां को झेल अडिग खड़े
नदिया से सीखो अपनी राह चलना
हर बाधा को तोड़ कलकल बहना
रवि से सीखो प्रकाश बिखेरना
हर सुबह अपने पथ पर चलना
खुद को जला औरों को रौशन करना
चाँद से सीखो शांत प्रसन्नचित रहना
इतना मधुर कि सब जुड़ना चाहें
पंछिओं से सीखो तिनका तिनका जोड़
नीड़ बना उसे आशाओं से भरना
हवा से सीखो सब संग उडाना
दूर दूर तक पहुंचाना
प्राकृति हर शै में सुंदर संदेसा भेजे
बीएस हमको है उसे पढ़ जीवन में उतारना
सीना चीरने पे भी लहलाती फसलें दे
आसमां से सीखो विशाल ह्र्द्यता
अनंत, अथाह दूर दूर तक एक समान
पर्वतों से सीखो अडिग सुदृढ़ता
हर तूफां को झेल अडिग खड़े
नदिया से सीखो अपनी राह चलना
हर बाधा को तोड़ कलकल बहना
रवि से सीखो प्रकाश बिखेरना
हर सुबह अपने पथ पर चलना
खुद को जला औरों को रौशन करना
चाँद से सीखो शांत प्रसन्नचित रहना
इतना मधुर कि सब जुड़ना चाहें
पंछिओं से सीखो तिनका तिनका जोड़
नीड़ बना उसे आशाओं से भरना
हवा से सीखो सब संग उडाना
दूर दूर तक पहुंचाना
प्राकृति हर शै में सुंदर संदेसा भेजे
बीएस हमको है उसे पढ़ जीवन में उतारना